बिहार पुलिस: 900 थानों में CCTNS परियोजना शुरू, अपराधियों पर कसेगी नकेल

बिहार के सभी थानों में अब ऑनलाइन तरीके से प्राथमिकी दर्ज कराई जा सकेगी. राज्य के 900 थानों में सीसीटीएनएस (क्राइम एंड क्रिमिनल ट्रैकिंग नेटवर्क सिस्टम) के माध्यम से केस दर्ज कराया जा सकेगा.

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बिहार पुलिस: 900 थानों में CCTNS परियोजना शुरू

बिहार पुलिस लगातार तकनीक के साथ कदम से कदम मिलाकर चलने की कोशिश कर रही है. इसी क्रम में बिहार के सभी थानों में अब ऑनलाइन तरीके से प्राथमिकी दर्ज कराई जा सकेगी. बिहार पुलिस अपने काम के तरीकों में बदलाव लाने की कोशिश कर रही है. टेक्नोलॉजी से जुड़ने के साथ अब पुलिसिया कार्रवाई में काफी सुधार होने की उम्मीद है. 

बिहार पुलिस ने कार्य व्यवस्था को सुधारते हुए अब ऑनलाइन तरीके से केस दर्ज करने की सुविधा शुरू की है. राज्य के 900 थानों में सीसीटीएनएस (क्राइम एंड क्रिमिनल ट्रैकिंग नेटवर्क सिस्टम) के माध्यम से केस दर्ज कराया जा सकेगा. 

एडीजी जितेंद्र सिंह गंगवार ने कहा है कि पुलिस न्यायालय, प्रॉसीक्यूशन और जेल से संपर्क कर सीसीटीएनएस से जुड़कर आंकड़ों का आदान-प्रदान करने की पहल को आगे बढ़ाया जा रहा है.

अपराधी को पकड़ने में टेक्नोलॉजी बड़ा रोल अदा करेगी

कई अपराधी जो दूसरे राज्य में नाम बदलकर और पहचान बदल कर रहते हैं. उन्हें पकड़ने में अब टेक्नोलॉजी बड़ा रोल अदा करेगी. ऑनलाइन व्यवस्था से इन अपराधियों को पहचान और पकड़ में काफी मदद साबित होने वाली है.

अब दूसरे राज्यों की पुलिस भी किसी भी राज्य के अपराधियों की कुंडली को अपने राज्य में बैठ कर देख सकेगी. जिन थानों में पहले कागज़ के जमा ना करने के अभाव में अपराधी बेल करवा लेते थे उनपर अब नकेल लगेगी. 

राज्य में अभी 1086 थाने हैं, जिसमें से 900 थाने में इस व्यवस्था को शुरू किया गया है. क्राइम, क्रिमिनल ट्रैकिंग सिस्टम और अपराधियों की पुरानी हिस्ट्री को एक समय में भेजा और देखा जा सकेगा.

सीसीटीएनएस भारत सरकार की एक परियोजना है जिसके तहत इ-गवर्नेंस से राष्ट्रव्यापी नेटवर्किंग संरचना तैयार की जा रही है. इस परियोजना के पूरे तरह जुड़ने से देश के अपराधियों की पहचान सभी थानों में जल्दी हो पाएगा.

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