देश में हरित क्रांति के जनक वैज्ञानिक एमएस स्वामीनाथन का 98 की उम्र में निधन हो गया. वैज्ञानिक एमएस स्वामीनाथन को देश में ही नहीं बल्कि पूरी दुनिया में जाना जाता है. उन्हें भारत में 'हरित क्रांति के पितामह' के नाम से जाना जाता था.
एमएस स्वामीनाथन का पूरा नाम मनकोंबू संबासिवन था. पेशे से कृषि वैज्ञानिक स्वामीनाथन को 1999 में टाइम 20 मोस्ट इनफ्लुएंशल एशियाई पीपल में शामिल था.
कई अवार्ड्स से सम्मानित
स्वामीनाथन को 1971 में रेमन मैगससे अवार्ड से सम्मानित किया गया था. इसके साथ ही उन्हें 1986 में अल्बर्ट आइंस्टीन वर्ल्ड अवार्ड ऑफ साइंस से भी सम्मानित किया गया था. 1989 में उन्हें पद्म विभूषण और 1987 में वर्ल्ड फूड प्राइस भी मिला था.
स्वामीनाथन ने 1949 में अपने करियर की शुरुआत आलू, गेहूं, चावल और जूट के जेनेटिक्स पर रिसर्च करते हुए की थी. भारत में उन्हें 'ग्रीन रिवॉल्यूशन का पितामह' कहा जाता था.
उनका जन्म 7 अगस्त 1925 को कुंबाकोणम, तमिलनाडू में हुआ था.