झारखंड विधानसभा के तीसरे दिन राज्यपाल संतोष कुमार गंगवार ने अभिभाषण दिया. राज्यपाल ने हेमंत सरकार का रोडमैप प्रदेश के सामने रखा, जिसमें उन्होंने उम्मीद जताई के राज्य के सभी नवनिर्वाचित विधायक सुख, समृद्धि और उन्नत झारखंड के निर्माण के लिए पूरे निष्ठा से काम करेंगे. बुधवार को अभिभाषण पढ़ते हुए राज्यपाल ने कहा कि पंचम विधानसभा में सरकार ने आदिवासियों को 28%, अन्य पिछड़ा वर्ग को 27% और अनुसूचित जाति को 12% आरक्षण दिया है. इसके अलावा सरना धर्म कोड का भी प्रस्ताव पास किया. यह सभी प्रस्ताव अभी केंद्रीय गृह मंत्रालय के पास लंबित है. सरकार केंद्रीय गृह मंत्रालय से इन प्रस्ताव को जल्द मंजूरी दिलाने का प्रयास करेगी.
राज्यपाल संतोष कुमार गंगवार ने कहा कि सहारा इंडिया से पीड़ित निवेशकों की लड़ाई झारखंड सरकार लड़ेगी. निचली अदालत से लेकर सुप्रीम कोर्ट तक और सड़क से लेकर संसद तक, जब तक सभी निवेशकों को उनका पैसा नहीं मिल जाएगा सरकार उनकी लड़ाई लड़ती रहेगी. शेयर में निवेश करने वाले वैसे निवेशक जिनका निधन हो गया या विपरीत परिस्थितियों में आकर आत्महत्या कर ली, उनके परिजनों की भी सरकार मदद करेगी.
राज्यपाल ने अभिभाषण में आगे कहा कि हेमंत सरकार किसानों को 0% ब्याज दर पर मुहैया कराएगी. मनरेगा मजदूरों को केंद्र की ओर से बहुत कम पारिश्रमिक दिया जाता है. हेमंत सरकार अपनी तरफ से मनरेगा मजदूरों के लिए पैसे की व्यवस्था करें. ताकि उन्हें न्यूनतम 350 रुपए मजदूरी मिल सके. नदियों और डैम के पानी के सदुपयोग के लिए राज्य में 10 हजार करोड़ की योजनाएं शुरू की जाएगी. आने वाले सालों में झारखंड में 500 सीएम स्कूल ऑफ एक्सीलेंस की स्थापना होगी, जिसमें स्वास्थ्य और संगीत के शिक्षकों की नियुक्ति होगी.
राज्यपाल ने अभिभाषण के दौरान नौकरियों में महिलाओं के लिए 33% आरक्षण की भी घोषणा की. दरअसल झामुमो ने विधानसभा चुनाव में घोषणा पत्र जारी करते हुए वादा किया था कि वह सत्ता में आएगी तो महिलाओं को हर नौकरी में 33% आरक्षण देगी.