झारखंड पब्लिक सर्विस कमीशन(जेपीएससी) नियुक्ति घोटाला मामले में सीबीआई ने 12 साल बाद चार्जशीट दाखिल की है. सीबीआई ने इस मामले में जेपीएससी के तत्कालीन अध्यक्ष दिलीप प्रसाद समेत 70 लोगों के खिलाफ चार्जशीट दाखिल की है. इसमें ऐसे भी नाम शामिल है जो वर्तमान में प्रोन्नति पाकर बड़े पदों पर तैनात है.
2012 में जेपीएससी घोटाला हुआ था, जिसमें कथित तौर पर तत्कालीन जेपीएससी के सदस्य और कोऑर्डिनेटर के कहने पर 12 परीक्षार्थियों के नंबर बढ़ा दिए गए थे. कई काॅपियों में अभ्यर्थियों के नंबर काट छांट कर बढ़ाएं गए और सफल उम्मीदवारों के इंटरव्यू में मिले वास्तविक नंबर को भी बढ़ाया गया था. दूसरे जेपीएससी नियुक्ति घोटाला मामले को लेकर सीबीआई ने 7 जुलाई 2012 को प्राथमिकी दर्ज की थी. प्राथमिकी के समय घोटाले से जुड़े 32 लोगों के खिलाफ जांच एजेंसी ने जांच शुरू की. पिछले 12 सालों तक चली जांच के दौरान कई और आरोपियों के नाम सामने आते गए, जिससे आरोपियों की संख्या 32 से बढ़कर अब 70 हो गई है.
जांच एजेंसी ने सीबीआई की विशेष अदालत में चार्जशीट को दाखिल किया है, जिस पर अब तक संज्ञान नहीं लिया गया है. दरअसल चार्जशीट में शामिल आरोपी सरकारी कर्मचारी हैं जिनके खिलाफ मुकदमा चलाने के लिए सरकार से स्वीकृति लेने की आवश्यकता होती है. अब तक जांच एजेंसी ने कुछ सरकारी कर्मियों के खिलाफ ही मुकदमा चलाने की सहमति सरकार से ली है. इस मामले में अगली सुनवाई 28 नवंबर को होगी.
झारखंड हाईकोर्ट ने जेपीएससी नियुक्ति घोटाला मामले की जांच का आदेश जून 2012 में दिया था. हाईकोर्ट ने मामले की सुनवाई के दौरान कहा कि निगरानी ब्यूरो जांच को काफी धीमा कर रहा है. इसके बाद जांच सीबीआई के हाथों में दी गई.