पटना के सरकारी स्कूलों में बच्चों को पढ़ने के साथ-साथ अब बागवानी भी सिखाई जाएगी. जिले के सभी सरकारी स्कूल में पोषण वाटिका तैयार करने के लिए सभी स्कूल प्रबंधकों को जिला शिक्षा पदाधिकारी(डीईओ) ने निर्देश दिया है. बच्चों के द्वारा स्कूल में उगाई गई सब्जियों का इस्तेमाल स्कूल में ही मिड डे मील में किया जाएगा. पटना के वैसे ही सरकारी स्कूल को इससे जोड़ा गया है जहां ऑर्गेनिक फार्मिंग के लिए पर्याप्त जगह और सिंचाई के लिए पानी मौजूद हो. वहीं जिन स्कूलों में जगह की कमी और पानी की कमी है वहां के बच्चों को स्कूल की छत, बाल्टी, प्लास्टिक की बोतल और गमले में पौधे उगाने के लिए निर्देश दिया गया है. पटना के 565 सरकारी स्कूलों का चयन पोषण वाटिका तैयार करने के लिए किया गया है, जिसके लिए स्कूलों को जुलाई तक का समय दिया गया है.
स्कूल में पौधा उगाने के लिए बच्चों को अलग से वर्कशॉप में इसके गुर सिखाए जाएंगे, जिसमें गमले और प्लास्टिक की बोतल में पौधा उगाने की जानकारी दी जाएगी. कम जगह में किन सब्जियों को उगाया जाएगा इसकी लिस्ट भी तैयार की गई है, जिसमें पालक, मूली, धनिया, मेथी, टमाटर, मिर्च, गाजर और पुदीना शामिल है. जिले के सभी स्कूल के प्रिंसिपल को अपने-अपने स्कूलों में इन पौधों को अधिक से अधिक संख्या में लगाने का निर्देश दिया गया है. इसके साथ ही जिन स्कूलों में सब्जी उगाने के लिए पर्याप्त जगह है वहां गोभी, मटर और सीजनल सब्जियों की खेती के लिए जानकारी दी जाएगी.
स्कूली बच्चों को यह भी बताया जाएगा कि किस मौसम में किस सब्जी का सेवन करना चाहिए और अलग-अलग मौसम के अनुसार कौन सी सब्जियां उगती हैं, जिनसे पोषण मिलता है. वर्कशॉप में बच्चों को सब्जियों में पाए जाने वाले विटामिन के बारे में भी जानकारी दी जाएगी. इस उपयोग का मुख्य उद्देश्य बच्चों को हरी और ताजा सब्जीयों का सेवन कराना है.