आज पटना में हजारों की संख्या में जीविका दीदियां अपनी मांगों को लेकर सड़कों पर उतरीं. ये जीविका दीदी अपना मानदेय बढ़ाने की मांग कर रही हैं. उनकी मांग है कि मानदेय बढ़ाकर 25000 किया जाए.
प्रदर्शन के दौरान उन पर लाठीचार्ज किया गया और उन पर पानी की बौछार भी की गई. जीविका दीदी बिहार सरकार की एक योजना है. जिसमें महिलाओं को जोड़कर एक समूह बनाया जाता है और उन्हें कई तरह के काम और रोजगार से जोड़ा जाता है.
नीतीश कुमार अक्सर अपनी यात्राओं और भाषणों में जीविका दीदी की तारीफ करते और उनके काम की चर्चा करते नजर आते हैं. राज्य में हर साल लाखों महिलाओं को आजीविका से जोड़ने का लक्ष्य रखा गया है.
ग्रामीण महिलाओं को रोजगार और आय का स्रोत
यह योजना बिहार के ग्रामीण क्षेत्रों में उन ग्रामीण महिलाओं को रोजगार और आय का स्रोत प्रदान करने के लिए चलाई जाती है. जो आय से बहुत दूर हैं. यह योजना फिलहाल बिहार के 38 जिलों के 534 ब्लॉकों में चल रही है.
यह योजना स्वयं सहायता समूह बनाकर क्रियान्वित की जाती है और प्रत्येक समूह का एक बैंक खाता भी खोला जाता है जिसमें महिलाओं को हर सप्ताह 10 जमा करने होते हैं।
राज्य में जीविका दीदियां रसोई के साथ-साथ मछली पालन, तालाबों के संरक्षण और रख-रखाव आदि के काम में भी हिस्सा ले रही हैं.
इस योजना की शुरुआत 2007 में बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने विश्व बैंक से ऋण लेकर की थी.