बिहार के सिवान जिले में शनिवार को AIMIM के जिला अध्यक्ष आरिफ जमाल को अपराधियों ने गोली मारकर उनकी हत्या कर दी थी. असदुद्दीन ओवैसी ने अपने पार्टी के जिला अध्यक्ष की हत्या के मामले में बिहार सरकार पर गंभीर आरोप लगाए हैं. ओवैसी ने कहा है नीतीश सरकार भाजपा से अलग नहीं है, बिहार में अपराधियों को भी पुलिस से खौफ नहीं रह गया है.
ओवैसी ने कहा कि बिहार में लॉ एंड ऑर्डर नाम की कोई चीज बाकी नहीं रह गई है. एनसीआरबी के 2022 की रिपोर्ट के मुताबिक उत्तर प्रदेश के बाद सबसे ज्यादा मर्डर बिहार में हुए हैं. हर तरह के क्राइम बिहार में हो रहे है और बिहार के सीएम, डिप्टी सीएम दोनों लोग इस तरह के अपराधों को रोकने में नाकाम साबित हो रहे हैं. ओवैसी ने मीडिया के सामने बीते एक साल में हुए अपराधिक मामले भी बताए, जिनमें कई दलित, गरीब और मुस्लिम लोगों की जान चली गई.
नीतीश सरकार की नाकामी
AIMIM के अध्यक्ष ने कहा कि आरिफ जमाल को उनके बच्चों के सामने मार दिया गया, यह बहुत ही निंदनीय और बुरी बात है. अब भी कातिल पुलिस की गिरफ्त से बाहर है. नवंबर के महीने में समस्तीपुर के भागीरथपुर गांव के मुसलमान परिवार को डराया गया और घर को जलाकर परिवार को वहां से भगा दिया गया. पुलिस ने इस मामले पर रिपोर्ट भी दर्ज नहीं की. जुलाई में भी कटिहार में पुलिस खुर्शीद आलम और सोनी कुमार शाह की पुलिस फायरिंग में जान चली गई थी. यह दोनों लोग बिजली ना आने के मामले में प्रदर्शन कर रहे थे.
मई में भी 55 साल के मुस्लिम ट्रक ड्राइवर की बीफ तस्करी के मामले में सारण में मोब लिंचिंग हुई थी. कटिहार के जदयू के लीडर कैलाश महतो की भी अपराधियों ने हत्या कर दी थी.
अप्रैल के महीने में रामनवमी में भी दंगा हुआ था. सासाराम और नालंदा में घरों को लूटा गया था. बेगूसराय में भी दो नाबालिक लड़कियों के साथ होली के दिन दुष्कर्म जैसी घटना हुई थी. मस्जिद पर लाउडस्पीकर लगाए जाने के मामले में भी लोगों को सीतामढ़ी में मारा पीटा गया था.
बिहार सरकार किस बुनियाद पर कहती है कि वह सेकुलर है और बीजेपी से बिल्कुल अलग है, प्रधानमंत्री से बिल्कुल अलग पॉलिसी बिहार में चल रही है. लेकिन दिनदहाड़े यहां पर इस तरह की घटनाएं होती है और पुलिस अपराधियों को पकड़ नहीं पाती है. बिहार में जिसके दिल में जो आता है वह कर देता है. राज्य में दलित, मुसलमान और गरीबों पर जुल्म हो रहे हैं. यह नीतीश सरकार की नाकामी को झलकाता है.
घटना छपरा के हुसैनगंज थाना क्षेत्र के कुतुब छपरा मोड की है. हुसैनगंज पुलिस के मुताबिक से 23 सितंबर को आरिफ अपनी दुकान पर बैठे थे, तभी बाइक सवार अपराधियों ने उन्हें गोली मार दी. घायल आरिफ को तुरन्त ही अस्पताल ले जाया गया लेकिन डॉक्टरों ने उन्हें मृत घोषित कर दिया. आरिफ जमाल को अपराधियों ने तीन गोलियां मारी थी.
भाजपा प्रावक अरविंद सिंह ने भी वीडियो जारी कर बिहार सरकार पर सवाल उठाए थे. उन्होंने पूछा कि जब आपके पास लालू यादव के बेटे तेजस्वी यादव उप मुख्यमंत्री हैं और नीतीश कुमार मुख्यमंत्री हैं तो देख सकते हैं कि बिहार में जंगल राज वापस आ गया है. हर जगह अपराधियों का ही राज है.