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लैंड फॉर जॉब मामले में कोर्ट ने दिया दो हफ्ते का समय
लैंड फॉर जॉब मामले में कोर्ट ने दिया दो हफ्ते का समय
आज दिल्ली के राउज एवेन्यू कोर्ट में लैंड फॉर जॉब मामले में सुनवाई हुई. जिसमें बिहार के पूर्व रेल मंत्री लालू प्रसाद यादव और अन्य सरकारी कर्मचारियों के खिलाफ मंजूरी के सवाल पर दो हफ्ते के भीतर फैसला करने के लिए सक्षम अधिकारी को कोर्ट ने आदेश दिया है. लैंड फॉर जॉब मामले में सीबीआई की ओर से दायर की गई निर्णायक पत्रिका कंसीडरेशन के स्टेज में है. इस मामले पर कोर्ट ने अगली सुनवाई के लिए 31 जुलाई की तारीफ मुक़र्रर की है.
लैंड फॉर जॉब मामला बिहार में लालू प्रसाद यादव के रेल मंत्री रहने के दौरान हुआ है. लालू यादव पर आरोप है कि नियमों की अनदेखी करते हुए उन्होंने रेलवे में कई लोगों को नौकरियां दी. राज्य के बाहर भी कई जोन में ग्रुप डी के तहत नौकरियां बांटी गई, जिसके बदले में लालू यादव ने अपने और अपने परिवार के नाम पर जमीन लिखवाई है. इस मामले में लालू यादव के अलावा राबड़ी देवी, मीसा भारती और हेमा के खिलाफ भी मामला दर्ज है.
सीबीआई की ओर से दायर की गई चार्टशीट के मुताबिक लालू यादव और उनके परिवार वालों ने नौकरी दिलाने के लिए अवैध तरीके से जमीन अपने नाम करवाई थी. इन नौकरियों को जबलपुर, मुंबई, कोलकाता, जयपुर और हाजीपुर जोन में दिया गया था. उस समय सर्किल रेट के अनुसार जमीन की कीमत 4.39 करोड़ रुपए थी, जबकि लालू परिवार को बिहार में 1 लाख स्क्वायर फीट से ज्यादा जमीन महज 26 लाख रुपए में मिली थी. इनमें ज्यादातर पैसे का भुगतान कैश में किया गया था.