दिल्ली शराब नीति घोटाला: अरविंद केजरीवाल को सुप्रीम कोर्ट से मिल सकती है जमानत

केजरीवाल की जमानत याचिका पर सुनवाई करते हुए कोर्ट ने कहा "अगर जमानत दी जाती है तो केजरीवाल सरकारी काम में दखल नहीं देंगे. वो अपने आधिकारिक कार्य नहीं करेंगे.

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अरविंद केजरीवाल को सुप्रीम कोर्ट

अरविंद केजरीवाल को सुप्रीम कोर्ट

दिल्ली शराब नीति (Delhi liquor policy scam) मामले में जेल में बंद अरविंद केजरीवाल (Arvind Kejriwal) की जमानत याचिका पर आज सुप्रीम कोर्ट सुनवाई (Supreme Court on Kejriwal) कर रहा है. केजरीवाल ने 10 अप्रैल को जमानत के लिए सुप्रीम कोर्ट में याचिका दायर की थी. कोर्ट ने सुनवाई के दौरान ED से सवाल पूछे हैं. जस्टिस संजीव खन्ना और जस्टिस दीपांकर दत्ता की बेंच ने ED से पूछा शुरुआत में आपने कहा था कि यह 100 करोड़ का मामला है, फिर दो सालों में 1100 करोड़ का कैसे हो गया है?

कोर्ट ने पूछा केजरीवाल की गिरफ़्तारी चुनाव से ठीक पहले क्यों की गयी? गिरफ़्तारी के बाद सुनवाई में इतनी देरी क्यों हो रही है? कोर्ट ने ED से पूछा क्या इस मामले में कुर्की हुआ है. सुप्रीम कोर्ट ने इस दौरान यह भी कहा कि केजरीवाल चुने हुए मुख्यमंत्री हैं. यह चुनाव का समय है. पांच साल में एक बार होता है, कोई फसल नहीं है जो छह महीने में तैयार हो जाए. साथ ही केजरीवाल पर पहले से कोई मामला दर्ज नहीं है जिससे यह सिद्ध हो की वह आदतन अपराधी हैं.

ED ने रखी अपनी बात

केजरीवाल की ओर से अभिषेक मनु सिंघवी, वहीं ED की तरफ से ASG एसवी राजू और SG तुषार मेहता अपनी दलीलें पेश कर रहे हैं. 100 करोड़ के 1100 करोड़ तक पहुंचने के सवाल पर ASG एसवी राजू ने कहा ये पॉलिसी के फायदे के कारण हुआ है. कोर्ट ने ED से केजरीवाल की केस डायरी भी मांगी है.

ED ने कोर्ट के केजरीवाल के गिरफ़्तारी और मुख्यमंत्री होने सवाल का भी जवाब दिया. SG तुषार मेहता ने कहा कि सिर्फ इसलिए कि क्या कोई सीएम है, ऐसा नहीं हो सकता. क्या हम नेताओं के लिए अपवाद बना रहे हैं. क्या चुनाव के लिए प्रचार करना जरुरी है?

मेहता ने आगे गिरफ़्तारी के प्रश्न का जवाब देते हुए कहा “केजरीवाल छह महीने तक समन टालते रहे. अगर वो सहयोग करते तो हो सकता है कि उनकी गिरफ़्तारी नहीं होती.

सुप्रीम कोर्ट ने जमानत के लिए रखी शर्त

केजरीवाल की जमानत याचिका पर सुनवाई करते हुए कोर्ट ने कहा - अगर जमानत दी जाती है तो केजरीवाल सरकारी काम में दखल नहीं देंगे. वो अपने आधिकारिक कार्य नहीं करेंगे. ऐसा हुआ तो हितों का टकराव पैदा होगा.

केजरीवाल ने शर्त मानते हुए कहा कि हम किसी फाइल पर साइन नहीं करेंगे. शर्त है कि LG किसी भी काम को इस आधार पर ना रोकें कि फाइल पर साइन नहीं है. साथ ही कहा कि ऐसा कुछ नहीं बोलूंगा, जो नुकसान पहुंचाने वाला हो. जमानत याचिका पर लंच के बाद भी सुनवाई जारी है. हालांकि ED ने इसका विरोध किया है और कहा है इससे समाज में गलत संदेश जाएगा. राजनेताओं और आम आदमी के लिए अलग कैटेगरी नहीं बनानी चाहिए. 

अगर केजरीवाल को आज जमानत मिल जाती है तो यह दिल्ली और पंजाब में होने वाले चुनाव पर बड़ा प्रभाव डाल सकती है. दिल्ली में छठे चरण के तहत 25 मई को चुनाव है. वहीं पंजाब में 1 जून को चुनाव होने हैं.

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