झारखंड के सरकारी स्कूलों में अब बच्चों को पोक्सो एक्ट के बारे में पढ़ाया जाएगा. आने वाले साल में नए सत्र से इसकी शुरुआत की जाएगी.
सत्र 2024-25 के पाठ्यक्रम में बाल यौन शोषण संरक्षण अधिनियम 2012 की पढ़ाई शुरू की जाएगी. झारखंड के शैक्षिक अनुसंधान एवं प्रशिक्षण परिषद (जीसीईआरटी) ने इसे आने वाले सत्र के सिलेबस में शामिल करने की ठानी है. पोक्सो की पढ़ाई कक्षा 6 से 12वीं तक के बच्चों के लिए होगी. परीक्षा में पोक्सो एक्ट से संबंधित सवाल भी पूछे जाएंगे.
जीसीईआरटी के सहायक निदेशक बांके बिहारी सिंह ने बताया कि पहले स्कूलों में हेल्थ एंड वैलनेस कार्यक्रम के तहत पोक्सो एक्ट के बारे में बच्चों को जानकारी दी जाती थी. अब यह सीनियर बच्चों को नियमित तौर पर पढ़ाया जाएगा.
केंद्र सरकार ने 11 थीम हेल्थ एंड वैलनेस कार्यक्रम के तहत तय
केंद्र सरकार की तरफ से 11 विषयों के साथ झारखंड सरकार ने 5 विषयों को स्कूलों में पढ़ाने के लिए शामिल किया है. 16 थीम के तहत पोक्सो एक्ट के अलग-अलग चैप्टर रखे गए हैं.
केंद्र सरकार ने 11 थीम हेल्थ एंड वैलनेस कार्यक्रम के तहत तय कर रखे हैं. जिसमें स्वस्थ रहना, भावनात्मक कल्याण व मानसिक स्वास्थ्य मूल्य एवं नागरिकता, लैंगिक समानता, मादक पदार्थों के दुरुपयोग की रोकथाम, स्वस्थ जीवन शैली, प्रजनन स्वास्थ्य, एचआईवी की रोकथाम, हिंसा व चोट के खिलाफ सुरक्षा, इंटरनेट व सोशल मीडिया का सुरक्षित उपयोग, अंतव्यक्तित्व संबंध शामिल हैं.
राज्य सरकार ने इसमें सड़क सुरक्षा, बाल विवाह एक सामाजिक बुराई, दहेज़ प्रथा, मानव तस्करी और सामाजिक भावनत्मक कौशल शामिल किए हैं.