झारखंड के पूर्व सीएम हेमंत सोरेन जमीन घोटाला मामले में रांची के बिरसा मुंडा केंद्रीय जेल में बंद है. हेमंत सोरेन के जमानत याचिका पर सोमवार को फिर से सुनवाई हुई. हेमंत सोरेन की याचिका पर झारखंड हाईकोर्ट के न्यायाधीश रंगोन मुखोपाध्याय की अदालत में दो घंटे तक बहस की, जिसमें हेमंत सोरेन की ओर से वरिष्ठ अधिवक्ता कपिल सिब्बल ने दलील पेश की. ईडी की ओर से एसवी राजू ने हाईकोर्ट में बहस की.
जमानत याचिका पर बहस करते हुए कपिल सिब्बल ने अदालत से कहा कि जिस जमीन को लेकर मामला चल रहा है वह भूइहरी नेचर का है. जिसका स्थानांतरण नहीं हो सकता. ईडी उस जमीन पर कब्जे की बात कर रहा है, जबकि उनके पास ऐसा कोई दस्तावेज नहीं है जो बताएं की जमीन कब्जे में है.
सुनवाई की अगली तारीख 12 जून
ईडी की ओर से एसवी राजू ने अदालत से बुधवार को बहस करने की बात कही. जिसके बाद हाईकोर्ट ने 12 जून को सुनवाई की अगली तारीख तय की है.
हेमंत सोरेन ने ईडी की विशेष अदालत में नियमित जमानत को लेकर याचिका दाखिल की थी. याचिका में उन्होंने अपने आप को गलत तरीके से आरोपी बनाने का हवाला दिया था. इस याचिका पर भी स्पेशल कोर्ट में सुनवाई हुई. ईडी की स्पेशल कोर्ट ने 13 मई को हेमंत सोरेन की जमानत याचिका को खारिज कर दिया था. इसके पहले हेमंत सोरेन ने सुप्रीम कोर्ट में भी जमानत के लिए गुहार लगाई थी, लेकिन वहां से भी उनकी याचिका खारिज हो गई थी. 21 और 22 मई को शीर्ष अदालत ने सुनवाई करते हुए हेमंत सोरेन के खिलाफ नाराजगी जताई थी. कोर्ट ने कहा था कि सोरेन की ओर से फाइल की गई याचिका में कई फैक्ट्स को छुपाया गया है.