गुरुवार को राज्य में ऐतिहासिक आरक्षण संशोधन बिल पास हो गया है. बिहार विधानसभा शीतकालीन सत्र के दौरान नीतीश कैबिनेट के इस बिल को मंजूरी मिल गई है. बिल पास होने के बाद अब राज्य में आरक्षण बढ़कर 75 फ़ीसदी हो गया है.
ओबीसी, बीसी, एससी और एसटी वर्ग को पहले राज्य में 50 फ़ीसदी आरक्षण मिलता था. नीतीश-तेजस्वी की सरकार में अब ओबीसी को 18% आरक्षण मिलेगा. वही बीसी को 25%, एससी को 20% और एसटी को 2% आरक्षण मिलने वाला है. आरक्षण बढ़ने के बाद पिछड़ा, अति पिछड़ा, एससी, एसटी के आरक्षण के साथ ईडब्ल्यूएस कोटा को जोड़कर अब 75 फ़ीसदी दायरा राज्य में बढ़ गया है.
9 संशोधन के बाद आरक्षण बिल पास
नीतीश कुमार के बयानों पर सदन में विपक्ष की ओर से हंगामा लगातार जारी है. इस बीच विधानमंडल के दोनों सदनों में इस बिल को मंजूरी मिली. सुबह विधानसभा कार्रवाई शुरू होने के बाद लगातार हंगामा हो रहा था जिसके बाद सदन को 2 बजे तक स्थगित कर दिया गया था. 2 बजे के बाद आरक्षण संशोधन बिल पेश किया गया, जिसमें 9 संशोधन करने के बाद इसे मंजूरी मिल गई है.
विधानसभा शीतकालीन सत्र के दूसरे दिन मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने सदन के पटल पर आरक्षण बढ़ाने का प्रस्ताव रखा था. बहस करते हुए देर शाम इसपर कैबिनेट की मुहर लग गई थी. मुहर लगने के बाद आज सरकार ने बिहार के विधानमंडल में आरक्षण बढ़ाने का बिल पेश किया था.
भाजपा की तरफ़ से बिहार आरक्षण बिल को समर्थन मिला है.