पटना के बापू सभागार में भाजपा के कार्यक्रम में खाली रहीं कुर्सियां, 20,000 की भीड़ जुटने का दावा
पटना के बापू सभागार में झलकारी बाई जयंती कार्यक्रम का आयोजन भाजपा की तरफ़ से कराया गया था. भाजपा के इस कार्यक्रम में पान बुनकर समाज के 20,000 लोग शामिल होने वाले थे, लेकिन यह दावा पूरी तरह से फ़ेल हो गया है.
बिहार में आने वाले साल में लोकसभा चुनाव होने वाले हैं. बिहार के सभी सियासी दल अपने-अपने वोट बैंक से वोटरों को लुभाने का जतन कर रहे हैं. राज्य के सियासी दल अपने चुनावी एजेंडा का दायरा बढ़ाने में लगे हुए हैं. भाजपा भी जदयू के हर कदम पर नजर रखते हुए एक कदम आगे रहने की कोशिश में लगी हुई है.
भाजपा ने आज पटना के बापू सभागार में झलकारी बाई जयंती कार्यक्रम का आयोजन कराया था. भाजपा के इस कार्यक्रम में पान बुनकर समाज के 20,000 लोग शामिल होने वाले थे. भीड़ को लेकर पटना में ट्रैफिक को भी डाइवर्ट कराया गया था. लेकिन भाजपा का यह दावा पूरी तरह से कार्यक्रम में फेल होता हुआ नजर आया. दरअसल भाजपा के इस कार्यक्रम में 100 लोग भी नहीं जुट पाए. बापू सभागार की ज्यादातर कुर्सियां कार्यक्रम के दौरान खाली रह गई.
भाजपा ने अपने इस कार्यक्रम को बड़ा बनाने के लिए केंद्रीय मंत्री नित्यानंद राय भी शामिल रहे. लेकिन इसके बावजूद भी लोगों को आकर्षित करने में भाजपा पूरी तरह से फ़ेल रही.
कार्यक्रम में भाजपा ने कहा कि झलकारी बाई बड़ी स्वतंत्रता सेनानी थी. झलकारी बाई रानी लक्ष्मीबाई की सेनापति थी उन्होंने दुर्गा दल का गठन किया था. लेकिन इतिहास में उन्हें जगह नहीं दी जाती है क्यूंकि वह दलित थी.
इस समारोह में नित्यानंद राय, सुशील मोदी, विजय सिन्हा, मंगल पांडे और नंदकिशोर यादव मौजूद रहे. भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष सम्राट चौधरी अपने इस कार्यक्रम में शामिल होने के लिए नहीं पहुंचे. भाजपा ने अपने दावे को जब फेल होते देखा तो जल्दी ही कार्यक्रम का खत्म कर वहां से निकल गए.